वाराणसी। मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम के जीवन को जनमानस के हृदय में उतारने वाले गोस्वामी तुलसीदास की जीवन यात्रा रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर के मंच पर जीवंत होगी। महानाट्य तुलसीदास का मंचन काशी में पहली बार होने जा रहा है। रामबोला से तुलसीदास बनने की यात्रा की काशी की जनता साक्षी होगी। इसकी जानकारी दिव्य प्रेम सेवा मिशन काशी अंचल के संयोजक डॉ० नन्दलाल, राहुल सिंह व श्रीप्रकाश ने संयुक्त वार्ता के जरिए दी।

संयोजक डॉ० नंदलाल ने मीडिया से बातचीत ने बताया कि शेखन सेन कृत महानाट्य दिव्य प्रेम सेवा मिशन के सेवा प्रकल्पों को समर्पित है। गोस्वामी तुलसीदास का काशी से अटूट संबंध है। वर्तमान परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए भारत में इस महानाट्य का मंचन प्रासंगिक एवं अत्यंत आवश्यक है। इस महानाट्य में गोस्वामी तुलसीदास के जीवनकाल का सजीव चित्रण किया गया है।

डॉ० नंदलाल ने आगे बताया कि महानाट्य मंचन से काशी अंचल के वासियों में आध्यात्मिकता, सांस्कृतिक एवं सामाजिक नवचेतना का संचार होगा। संगीत और अभिनय की जुगलबंदी के माध्यम से नाटक की भावपूर्ण प्रस्तुति होगी। बाल्यकाल से लेकर रामबोला और उसके बाद तुलसी नाम पड़ने का कारण, राम को 14 वर्ष वनवास का कारण, पत्नी रत्नावली से मिले ज्ञान समेत मानस रचना के प्रसंगों को काशी की जनता सजीव होते हुए देखेगी।

बनारसी नारद

बनारसी नारद

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