वाराणसी। 5 फरवरी को संत रविदास जयंती है। वाराणसी स्थित उनकी जन्म स्थली पर जयंती समारोह की तैयारियां जोरों पर हैं। सेवादारों का जत्था यहां आना शुरु हो गया है,…

वाराणसी। 5 फरवरी को संत रविदास जयंती है। वाराणसी स्थित उनकी जन्म स्थली पर जयंती समारोह की तैयारियां जोरों पर हैं। सेवादारों का जत्था यहां आना शुरु हो गया है, वहीं दूसरी ओर इस दिन कई राजनेता भी यहां पहुंचने वाले है। इसी क्रम में बड़ी जोरों से तैयारियां जारी है। संत रविदास जयंती की तैयारियों को लेकर जिला प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट हो गयी है।

वाराणसी में संत रविदास के सपनों का गांव बेगमपुरा आकार लेने लगा है। यहां रविदास जयंती के अवसर पर उनकी जन्मस्थली वाराणसी के सीर गोवर्धन में देश-विदेश से लाखों श्रद्धालुओं आते हैं। सभी संत रविदास के दरबार में मत्था टेकते हैं। पंजाब से सेवादार काशी आते हैं। इस वर्ष भी 1500 से अधिक सेवादारों ने जन्मजयंती की पूरी जिम्मेदारी संभाल ली हैं। सेवादारों ने लंगर हाल, पंडाल, मंदिर परिसर, सुरक्षा सहित अन्य कार्यों की जिम्मेदारी को संभाल लिया हैं।

आने वाले सभी श्रद्धालुओं के लिए लंगर हाल में बैठ कर खाने की व्यवस्था की गई है। लंगर का भोजन पकाने के लिए सेवादार अपने कार्यों में लग गये हैं। जानकारी के अनुसार 2 फरवरी से बड़े लंगर की शुरुआत हो गई है। निरंजन दास जालंधर पंजाब से 2 फरवरी को अनुयायियों के साथ स्पेशल ट्रेन से चलकर 3 फरवरी को सीर गोवर्धनपुर पहुंचेंगे। जहां मंदिर कमिटी के लोग उनका कैंट स्टेशन पर स्वागत करेंगे।

Updated On 2 Feb 2023 9:27 AM GMT
Ankita Yaduvanshi

Ankita Yaduvanshi

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