तमाम जांच एजसियां आपस में जब बात करती थी तो वो SAM ग्रुप का नाम लेती थी, लेकिन क्या आपको पता ये SAM ग्रुप के पीछे उन माफियाओं को टारगेट किया गया था, जिनकी दहशत बिहार से लेकर यूपी तक फैली हुई थी, इनका आंतक इस कदर छाया हुआ था, कि ये पुलिस लेकर सभी जांच एजंसियों के लिए भी एक चुनौती की तरह थे, लेकिन आज माफिया मुख्तार अंसारी की मौत के बाद इस सैम ग्रुप का आखिरकार खात्मा हो ही गया। आइए आज आपको इस सैम ग्रुप के बारे में विस्तार से बताते है...

सबसे पहले आपको बता दें कि SAM ग्रुप का फुल फॅार्म क्या है

S- Shahabuddin

A- Atique Ahmed

M- Mukhtar Ansari

ये तीनों नाम है जिन्हें सैम ग्रुप के तौर पर कोड किया गया था और आज इन तीनों माफियां मिट्टी में मिल चुके है और इनका सम्राज्य खत्म हो चुका है।

मोहम्मद शहाबुद्दीन

सबसे पहले बात करते है मोहमम्मद शहाबुद्दीन की जो बिहार का बाहुबली और RJD का पूर्व सांसद था। जिसकी 2021 में कोरोना से मौत हो गई थी। शहाबुद्दीन हत्या के मामले में तिहाड़ जेल में उम्रकैद की सजा काट रहा था। बाहुबली नेता कहे जान वाला शहाबुद्दीन अपराध की दुनिया का बड़ा नाम रहा। शहाबुद्दीन 1986 से मात्र 19 साल की उम्र में ही अपराध की दुनिया में शामिल हो चुका था. जिसके बाद वो 24-25 साल की उम्र में सक्रिय राजानीति का भी एक बड़ा नाम बना।

अतीक अहमद

अब बात करते है दूसरे माफिया अतीक अहमद की जिसकी प्रयागराज में तूंती बोलती थी, उसके आतंक से लोग खौफ खाते थे। वो हर वारदात को अपने खूंखार अंदाज में अंजाम देता था। अपराध दुनिया से उसने सियासत की दुनिया में कदम रखा और सफेदपोश की आड़ में अपने आतंक का साम्राज्य बढ़ाता गया, लेकिन उसकी भी बहुत दर्दनाक मौत हुई। गैंगस्टर अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ अहमद को अप्रैल 2023 में प्रयागराज में मेडिकल के लिए ले जाते दिनदहाड़े पुलिस कस्टडी में गोली मारकर हत्या कर दी गई।

मुख्तार अंसारी

तीसरे नंबर पर है मुख्तार अंसारी जिसका आज हार्ट अटैक होने से 63 वर्ष की उम्र में निधन हो गया है। गुरुवार की शाम हार्ट स्ट्रोक की शिकायत के बाद बांदा जेल से मुख्तार को मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था। अस्पताल में मुख्तार अंसारी की हालात काफी गंभीर बताई जा रही थी, जहां वो आईसीयू में भर्ती था।


मुख्तार अंसारी एक ऐसा नाम था, जो पूर्वांचल में ही नहीं बल्कि प्रदेश और देश के दूसरे राज्यों में घटने वाली बड़ी आपराधिक घटनाओं से अक्सर चर्चा में रहता था। अपराध से लेकर सियासी दुनिया तक मुख्तार का बोलबाला था, लेकिन आज इसका भी साम्राज्य ढह गया।

इस तरह से इन तीनों माफियों यानी सैम ग्रुप का आतंक का खात्मा हुआ।

Ankita Yaduvanshi

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