बेंगलुरु, 12 सितंबर (हि.स.)। स्थानीय हिंदी रचनाकारों की प्रसिद्ध साहित्यिक संस्था ‘शब्द’ ने मंगलवार को वर्ष 2023 के लिए ‘अज्ञेय शब्द सृजन सम्मान’ तथा दक्षिण भारत शब्द हिंदी सेवी सम्मान’ के विजेताओं की घोषणा कर दी है।

साहित्यिक संस्था शब्द के अध्यक्ष डॉ श्रीनारायण समीर ने बताया कि इस साल का ‘अज्ञेय शब्द सृजन सम्मान’ हिंदी के मूर्धन्य कथाकार हृषीकेश सुलभ को उनके उपन्यास ‘दाता पीर’ के लिए दिया जाएगा। इस सम्मान में प्रशस्तिपत्र के साथ एक लाख रुपये का चेक भी दिया जाएगा। डॉ समीर ने बताया कि इक्कीस हजार रुपये का ‘दक्षिण भारत शब्द हिंदी सेवी सम्मान’ कर्मठ हिंदी सेवी एवं कर्नाटक महिला हिंदी सेवा समिति की प्रमुख वयोवृद्ध सुश्री शांता बाई को दिया जाएगा। शांता बाई को दक्षिण भारत में हिंदी भाषा एवं साहित्य के संवर्द्धन में उल्लेखनीय अवदान के लिए दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि ‘अज्ञेय शब्द सृजन सम्मान’ बेंगलूरु के प्रसिद्ध अज्ञेय साहित्य के मर्मज्ञ बाबूलाल गुप्ता के फाउंडेशन और ‘दक्षिण भारत शब्द हिंदी सेवी सम्मान’ बेंगलुरु और चेन्नई से प्रकाशित प्रमुख हिंदी समाचार पत्र समूह ‘दक्षिण भारत राष्ट्रमत’ की ओर से प्रदान किया जाता है। उन्होंने बताया कि 10 दिसंबर को बेंगलुरु में आयोजित एक सारस्वत समारोह में दोनों साहित्यकारों को पारंपरिक मैसूर पेटा, स्मृति चिह्न और अंगवस्त्रम् भेंटकर सम्मानित किया जाएगा।

उन्होंने बताया कि पांच सदस्यीय मूल्यांकन समिति के चयन के बाद मूल्यांकन समिति की संस्तुति के आधार पर किया गया। इन पुरस्कारों के लिए 53 प्रविष्टियां प्राप्त हुईं। मूल्यांकन समिति में संपादक ओम थानवी के अलावा लेखक डॉ भंवर सिंह शक्तावत, अनुवाद मर्मज्ञ ईश्वर चंद्र मिश्र एवं लेखिका रमिता सिंह शामिल थीं। इसके बाद बाबूलाल गुप्ता, श्रीकांत पाराशर, नलिनी पोपट, डॉ उषारानी राव और डॉ श्रीनारायण समीर की पांच सदस्यीय निर्णायक मंडल ने विजेताओं के नाम पर अंतिम निर्णय लिया।

हिन्दुस्थान समाचार /सुनील

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Updated On 13 Sep 2023 12:15 AM GMT
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